“एयरपोर्ट जैसी सुविधा से पहले ट्रेनों को समय पर चलाएं” — चक्रधरपुर रेल मंडल में लेटलतीफ़ी पर भड़के सांसद जोबा माझी

चक्रधरपुर। सिंहभूम के सांसद जोबा माझी ने चक्रधरपुर रेल मंडल में गंभीर लेटलतीफ़ी, यात्री ट्रेनों को दरकिनार कर मालगाड़ियों को प्राथमिकता देने तथा कोविड काल से बंद कई सुविधाओं की बहाली को लेकर कड़ी नाराजगी जताई है। उन्होंने मंडल के जीएम और डीआरएम को विस्तृत पत्र लिखकर तत्काल सुधारात्मक कार्रवाई की मांग की है।
लेटलतीफ़ी पर सांसद का हमला
सांसद माझी ने कहा कि चक्रधरपुर रेल मंडल में यात्री ट्रेनों की देरी आम बात हो गई है।
टाटानगर पहुंचने में ट्रेनें रोज 2–3 घंटे तक देर कर रही हैं, जिससे दैनिक यात्रियों और छात्रों को भारी परेशानी हो रही है।
उन्होंने स्पष्ट कहा —
“एयरपोर्ट जैसी सुविधाएं देने से पहले रेलवे यह सुनिश्चित करे कि ट्रेनें समय पर चलें।”
कोविड के बाद ठहराव बहाली की मांग
सांसद ने कहा कि कोविड अवधि में जिन छोटे स्टेशनों पर ठहराव हटाया गया था, उन्हें आज तक बहाल नहीं किया गया है।
सोनुआ, गोईलकेरा और मनोहरपुर जैसे स्टेशनों पर रविवार एवं राष्ट्रीय अवकाश के दिन आरक्षण काउंटर बंद रहते हैं।
इस पर आपत्ति जताते हुए उन्होंने छुट्टियों में भी निर्धारित समय तक सेवा उपलब्ध कराने की मांग की है।
इन ट्रेनों के नियमित परिचालन पर जोर
सांसद ने चक्रधरपुर मंडल में चलने वाली निम्न ट्रेनों के नियमित, ससमय संचालन की मांग रखी है—
- चक्रधरपुर–राउरकेला–चक्रधरपुर मेमू
- चक्रधरपुर–टाटानगर–चक्रधरपुर मेमू
- टाटा–एर्नाकुलम–टाटा एक्सप्रेस
- संबलेश्वरी, उत्कल एक्सप्रेस (सोनुआ व गोईलकेरा में ठहराव)
- टाटा–इटवारी–टाटा पैसेंजर (पौसेता, लोटापहाड़ ठहराव)
- इस्पात एक्सप्रेस (गोईलकेरा ठहराव)
- राउरकेला–भुवनेश्वर इंटरसिटी एक्सप्रेस (चक्रधरपुर–चाईबासा मार्ग)
28 सूत्री जनहित मांगें भी उठाईं
— चक्रधरपुर पोर्टरखोली से देवगांव तक जर्जर सड़क के निर्माण
— बंद स्टेशनों में यात्रियों की मूलभूत सुविधाएं
— स्थानीय यात्रियों और छात्रों के लिए निर्धारित समय की ट्रेन सेवाएं
इन सभी मुद्दों को सांसद ने अपनी 28 सूत्री मांगों में शामिल किया है।





