छत्तीसगढ़

3 साल पहले हुए लूट और हत्या के तीन आरोपियों को सुनाई गई सजा

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दो आरोपियों को आजीवन कारावास और एक को 5 साल की सजा

बोलेरो लूटकर चालक की पत्थर से कुचलकर हत्या की थी आरोपियों ने

प्रथम एडीजे कोर्ट पेंड्रारोड का फैसला

शरद अग्रवाल/पेंड्रा
3 साल पहले बुकिंग में गई बोलेरो को मध्य प्रदेश के सीधी जिले में लूट कर चालक की छत्तीसगढ़ के गौरेला पेंड्रा मरवाही जिले में पत्थर से कुचलकर हत्या करने के मामले में प्रथम एडीजे कोर्ट पेंड्रारोड ने आरोपियों को अलग-अलग धाराओं के तहत सजा सुनाई है।
दरअसल 24 सितंबर 2022 को गौरेला थाना के बेलपत गांव के राजमेंलान नाला के पास जंगल में गश्त कर रहे वन कर्मियों ने एक लाश देखी थी जिसका सर पत्थर से कुचला हुआ था। 

उन्होंने तत्काल पुलिस को सूचना दी इस मामले में पुलिस ने मृतक की पहचान बोलेरो चालक रमेश दास के रूप में की जोकि 22 सितंबर2022 को गौरेला के ही रहने वाले संदीप दास के बेटे की तबीयत खराब होने पर बुकिंग के लिए बोलोरो लेकर रीवा के लिए सुबह निकला था और शाम को रीवा से वापस पेंड्रा के लिए निकला पर पहुंचा नहीं था और बाद में उसकी लाश बेलपत के जंगल में नाला के पास मिली थी।  इस मामले में पुलिस ने तफ्तीश करते हुए पाया कि मृतक बोलेरो चालक रमेश दास की बोलेरो को लूट के बाद हत्या की गई है और पुलिस ने इस मामले में मध्य प्रदेश के सीधी जिले के रहने वाले पिंकू सिंह चौहान और प्रांशु सिंह चौहान को सही उत्तर प्रदेश के प्रयागराज जिले के सर्वेश सिंह उर्फ जय सिंह जोकि हाल में कोरबा जिले के पाली में रहता था को गिरफ्तार किया था।

आरोपियों पर आरोप था कि मध्य प्रदेश के सीधी जिला के जनकपुर गांव के पास इन्होंने बोलेरो लेकर वापस आ रहे रमेश दास से बोलेरो लूटी और उसके साथ यहां आए और बाद में एक नाबालिक की मदद से रमेश दास की करीब 15 किलो वजन वाले पत्थर से कुचलकर हत्या कर दी और बोलेरो लूट कर फरार हो गए पुलिस ने इस मामले में मध्य प्रदेश के टोल प्लाजा और जप्त की गई बोलेरो में मौजूद फिंगरप्रिंट सहित अन्य निशान को सबूत के तौर पर जुटाया और न्यायालय में केस प्रस्तुत किया। रमेश दास से बोलेरो लूटकर आरोपियों ने सर्वेश सिंह को बेचने का षडयंत्र किया था। आरोपियों ने मृतक रमेश दास से 3000 रुपए भी लूटे और उसका मोबाइल रास्ते में फेंक दिया था।

इस मामले में फैसला सुनाते हुए प्रथम अपर सत्र न्यायाधीश पेंड्रा रोड श्रीमती ज्योति अग्रवाल ने आरोपी गणों में से पिंकू सिंह चौहान और प्रांशु सिंह चौहान को आईपीसी की धारा 302 , 34 के तहत आजीवन कारावास की सजा और ₹1000 अर्थ दंड की सजा तथा धारा 397, 34 के तहत दोनों आरोपियों को 10-10 साल के सश्रम कारावास की सजा और ₹1000 अर्थदंड की सजा और धारा 364 सहपठित धारा 34 के तहत आजीवन कारावास की सजा और एक ₹1000 अर्थदंड की सजा तथा आरोपी  सर्वेश सिंह,  प्रांशु सिंह और पिंकू सिंह को आपराधिक षड्यंत्र किए जाने पर आईपीसी की धारा 120 बी के तहत 5 पांच पांच साल के कठोर कारावास तथा ₹500 अर्थदंड की सजा सुनाई गई है। अर्थदंड की अदायगी में चूक होने पर अतिरिक्त कारावास की सजा भुगतनी होगी। इस मामले में शासन की ओर से पैरवी अतिरिक्त लोक अभियोजक कौशल सिंह ने की।

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