माननीय प्रधानमंत्री जी से दीवाली के अवसर पर पैरामिलिट्री चौकीदारों के लिए पुरानी पेंशन बहाली की अपील
जरूरी सुविधाओं के ना होने से 20 लाख पैरा मिलिट्री परिवारों में भारी चिंता व्याप्त। पुरानी पेंशन बहाली व अन्य भलाई संबंधित मुद्दों को लेकर 24 नवम्बर को दिल्ली में भावी रणनीति का ऐलान।
एलायंस ऑफ ऑल एक्स पैरामिलिट्री फोर्सेस वेलफेयर एसोसिएशन महासचिव रणबीर सिंह द्वारा प्रेस विज्ञप्ति जारी करते हुए माननीय प्रधानमंत्री जी से भावुक अपील किया कि जब आप सरहदों पर अर्ध सैनिकों के साथ दिवाली मनाने जाएं तो इस बार पुरानी पेंशन बहाली, राज्यों में अर्ध सैनिक कल्याण बोर्ड व अर्ध सैनिक स्कूलों के गठन व पैरा मिलिट्री फ्लैग डे फंड की स्थापना का ऐतिहासिक बोन्नाज़ा का ऐलान करें ऐसी एसोसिएशन की उमीदें बरकरार।
रणबीर सिंह के अनुसार राष्ट्र की लम्बी सरहदों की सुरक्षा बीएसएफ, आईटीबीपी व एसएसबी जवान कर रहे हैं जबकि सुविधाओं के नाम पर ठेंगा। समस्त राष्ट्र की चाक चौबंद सुरक्षा करने वाले पैरा मिलिट्री जवान पुरानी पेंशन बहाली व जरूरी सुविधाओं के लिए तरस रहे हैं लेकिन फोर्सेस डीजी, व केन्द्रीय गृह मंत्रालय को इन सब सुविधाओं से कोई लेना देना नहीं। पैरा मिलिट्री जवान सरहदों पर बने बीओपी में तैनात हैं, हाईफाई वाईफाई बैरेक्स में नहीं। माननीय प्रधानमंत्री जी आप बधाई के पात्र हैं जो आए साल जवानों के बीच बॉर्डर पर दीवाली मनाते हैं।
एलायंस अध्यक्ष पूर्व एडीजी श्री एच.आर सिंह के कहे अनुसार ऐसा पहली बार जब पूर्व अर्धसैनिकों के लिए द्वारका मोड़ मेट्रो स्टेशन से कुछ दूरी पर राजधानी दिल्ली में अपना पैरा मिलिट्री भलाई दफ्तर होगा जिसका 24 नवंबर को उद्घाटन होगा और इस अवसर पर सभी राज्यों के वेलफेयर एसोसिएशन प्रतिनिधि भाग लेंगे साथ ही नई कार्य समिति के साथ साथ अग्रिम शांतिपूर्ण संघर्ष का सामूहिक ऐलान होगा। एसोसिएशन की ओर से देश की सीमाओं की सुरक्षा के अलावा औद्योगिक संस्थाओं की रखवाली करने वाले जवानों,चुनावों में निष्पक्ष भूमिका निभा रहे व राज्यों में कानून व्यवस्था बनाए रखने वाले पैरा मिलिट्री जवानों, ऑफिसर्स को दीवाली के शुभ अवसर पर ढेर सारी बधाई एवं शुभकामनाएं।
उम्मीद कि इस बार जवानों के बीच जलेबी का स्वाद चखने के साथ साथ माननीय प्रधानमंत्री जी पैरा मिलिट्री पुरानी पेंशन बहाली, कल्याण, पुनर्वास, शिक्षा व स्वास्थ्य जैसी मूलभूत सुविधाओं की घोषणा करेंगे ताकि पैरा मिलिट्री जवानों के मनोबल वृद्धि के साथ बॉर्डर और ज़्यादा महफूज रहें।