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महात्मा गांधी के योगदान और उनकी अहिंसा की शक्ति ने भारत को स्वतंत्रता दिलाने में अहम भूमिका निभाई। 30 जनवरी, 1948 को नाथूराम गोडसे द्वारा गोली मारकर उनकी हत्या कर दी गई, लेकिन उनका आदर्श और उनका संघर्ष हमेशा हमारे दिलों में जिंदा रहेगा।
महात्मा गांधी का भारतीय संघर्ष: महात्मा गांधी जब 1914 में दक्षिण अफ्रीका से भारत लौटे, तो उनका स्वागत उन्होंने दक्षिण अफ्रीका में किए गए कार्यों के लिए किया। धीरे-धीरे देशवासियों ने उन्हें महात्मा कहकर सम्मानित किया। उन्होंने भारतीय समाज की गहरी समझ बनाई और सत्याग्रह के सिद्धांत पर आधारित आंदोलनों की शुरुआत की।
सत्याग्रह और अहिंसा का संघर्ष: महात्मा गांधी ने 1919 में रॉलेट एक्ट के खिलाफ आंदोलन की शुरुआत की। इसके बाद असहयोग आंदोलन, नागरिक अवज्ञा आंदोलन, दांडी नमक यात्रा और भारत छोड़ो आंदोलन जैसे कई बड़े आंदोलनों का नेतृत्व किया। उनका यह संघर्ष पूरे देश को जागरूक कर गया, और अहिंसा के सिद्धांत ने अंग्रेजों की ताकत को भी हिला दिया।
महात्मा गांधी की कृतियां और विचार: महात्मा गांधी के द्वारा लिखी गई कुछ महत्वपूर्ण किताबें जैसे हिन्द स्वराज, मेरे सपनों का भारत, दक्षिण अफ्रीका में सत्याग्रह, और ग्राम स्वराज आज भी हमारे समाज के लिए प्रेरणा का स्रोत हैं। इन पुस्तकों के माध्यम से उन्होंने न केवल समाज के सामाजिक मुद्दों पर बल दिया बल्कि हमें अपने कर्तव्यों और जिम्मेदारियों को समझाया।
गांधी जी की वैश्विक प्रभाविता: महात्मा गांधी का योगदान सिर्फ भारत तक सीमित नहीं था, उनका प्रभाव पूरी दुनिया पर पड़ा। उनके विचारों से प्रेरित होकर दुनिया भर में 10,000 से अधिक किताबें और शोध पत्र प्रकाशित हुए हैं। महात्मा गांधी पर शोध करने वाले छात्रों की संख्या लाखों में है, और उनकी मृत्यु के 75 साल बाद भी दुनिया भर में उनकी विचारधारा का अध्ययन किया जा रहा है।
महात्मा गांधी की मूर्तियां और सम्मान: महात्मा गांधी की प्रतिमाएं आज दुनिया के 84 देशों में स्थापित की जा चुकी हैं। पाकिस्तान, चीन, अमेरिका, रूस, अफ्रीकी देशों से लेकर यूरोप और दक्षिण एशिया तक, गांधी जी का सम्मान किया जा रहा है। यह उनके विचारों और संघर्ष की निरंतरता का प्रतीक है।
नमन है इस महान विभूति को: महात्मा गांधी का जीवन हमारे लिए एक प्रेरणा है। आज 30 जनवरी के इस शहीद दिवस पर, आइए हम सभी मिलकर उनके आदर्शों को याद करें और उनका नमन करें। गांधी जी ने हमें यह सिखाया कि सत्य और अहिंसा के रास्ते पर चलकर ही हम बड़ी से बड़ी मुश्किलें भी पार कर सकते हैं।
हमारा गर्व है कि हम गांधीवादी हैं…
नितिन सिन्हा
संपादक
ख़बर सार