छत्तीसगढ़

आदेश का पालन नहीं करने पर आरपीएफ के 10 जवान निलंबित

संवाददाता चक्रधरपुर रेलवे सुरक्षा बल के वरिष्ठ मंडल सुरक्षा आयुक्त पी शंकर कुट्टी ने चक्रधरपुर रेल मंडल के विभिन्न स्टेशनों में कार्यरत रेलवे सुरक्षा बल के 10 जवानों को अनुशासनहीनता के कारण निलंबित कर दिया है। हालांकि इस संबंध में आधिकारिक पुष्टि नहीं की गई है ।

बताया जाता है कि इन जवानों पर अपने वरीय अधिकारियों के निर्देशों की अवहेलना करने व ऊपर के आदेश के अनुसार हजारीबाग और मानेसर स्थित एनएसजी बीएसएफ केंद्र में कमांडो कोर्स के लिए रिपोर्ट नहीं करने और ट्रेनिंग पर नहीं जाने का आरोप है। जो आरपीएफ नियमावली का उल्लंघन है । जिसमें अनुशासनात्मक कार्रवाई लंबित होने या विचाराधीन होने की स्थिति में निलंबन का प्रावधान है।

जिन आर पी एफ जवानों को निलंबित किया गया है उसमें टाटानगर के सी पी प्रजापति, सीनी के रब्बानी खान, एम के चौहान, अमित कुमार , बंडामुंडा के सी बी सिंह, सोनू कुमार, राउरकेला के अमरजीत कुमार, जितेंद्र कुमार झारसुगुड़ा के गोपाल सिंह और डी के पंडित शामिल है।

बताया जाता है कि इस संबंध में सीनियर डीएससी के द्वारा एक पत्र भी जारी किया गया हैं। पत्र ने उल्लेख किया गया है कि निलंबन किया गए आर पी एफ जवानों को निलंबन के दौरान नियमों के अनुसार 50 फीसदी निर्वाह भत्ता मिलेगा। साथ ही उन्हें साढ़े दस बजे अपने संबंधित मुख्यालय में हाजिरी लगानी होगी और बिना सक्षम पदाधिकारी के अनुमति के मुख्यालय न छोड़ने के सख्त आदेश दिया गया है।

हालांकि इस घटना की विभागीय जांच के बाद सभी निलंबित आर पी एफ के जवानों पर जागे की कार्यवाही की जाएगी। इस सम्बन्ध मे आरपीएफ के सहायक सुरक्षा आयुक्त अमरेश चंद्र सिन्हा ने कहा की सुरक्षा सम्बन्धी मामलों चक्रधरपुर। चक्रधरपुर रेलवे सुरक्षा बल के वरिष्ठ मंडल सुरक्षा आयुक्त पी शंकर कुट्टी ने शुक्रवार को चक्रधरपुर रेल मंडल के विभिन्न स्टेशनों में कार्यरत रेलवे सुरक्षा बल के 10 जवानों को अनुशासनहीनता के कारण निलंबित कर दिया है।

हालांकि इस संबंध में आधिकारिक पुष्टि नहीं की गई है । बताया जाता है कि इन जवानों पर अपने वरीय अधिकारियों के निर्देशों की अवहेलना करने व हजारीबाग और मानेसर स्थित एनएसजी बी एस एफ केंद्र में कमांडो कोर्स के लिए रिपोर्ट नहीं करने और ट्रेनिंग पर नहीं जाने का आरोप है।जिसके कारण आरोपइफ नियमावली का उल्लंघन की गई हैं। जिसमें अनुशासनात्मक कार्रवाई लंबित होने या विचाराधीन होने की स्थिति में निलंबन का प्रावधान है।

जिन आर पी एफ जवानों को निलंबित किया गया है उसमें टाटानगर के सी पी प्रजापति, सीनी के रब्बानी खान, एम के चौहान, अमित कुमार , बंडामुंडा के सी बी सिंह, सोनू कुमार, राउरकेला के अमरजीत कुमार, जितेंद्र कुमार झारसुगुड़ा के गोपाल सिंह और डी के पंडित शामिल है। बताया जाता है कि इस संबंध में सीनियर डीएससी के द्वारा एक पत्र भी जारी किया गया हैं। पत्र ने उल्लेख किया गया है कि निलंबन किया गए आर पी एफ जवानों को निलंबन के दौरान नियमों के अनुसार 50 फीसदी निर्वाह भत्ता मिलेगा।

साथ ही उन्हें साढ़े दस बजे अपने संबंधित मुख्यालय में हाजिरी लगानी होगी और बिना सक्षम पदाधिकारी के अनुमति के मुख्यालय न छोड़ने के सख्त आदेश दिया गया है। हालांकि इस घटना की विभागीय जांच के बाद सभी निलंबित आर पी एफ के जवानों पर जागे की कार्यवाही की जाएगी।

इस सम्बन्ध मे आरपीएफ के सहायक सुरक्षा आयुक्त अमरेश चंद्र सिन्हा ने कहा कि सुरक्षा संबंधी मामलों में अनुशासन आवश्यक है। आरपीएफ के जवानों को ऊपर के आदेश का अनुपालन करने का आदेश जारी किया गया था। लेकिन उनके द्वारा अनुशासनहीनता अबलंबन करने पर उन पर विभागीय करवाई की जाएगी।

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