छत्तीसगढ़

मुर्गा-बतख चोरी पर पुलिस खामोश, ग्रामीण बोले—कब जागेगी कानून की रखवाली?

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ठोस सबूत, गवाह और बरामदगी के बावजूद आरोपियों पर शिकंजा कसने में नाकाम—पुलिस पर उठे सवाल?

सूरजपुर कौशलेन्द्र यादव  । शहर के भैयाथान रोड निवासी गौतम कुमार ने थाना सूरजपुर में शिकायत दर्ज कराते हुए आरोप लगाया कि डुमरिया और नेवरा गांव के कुछ लोगों ने उनके पशुपालन केंद्र डुमरिया से 9 अगस्त 2025 की रात करीब 50 मुर्गे, 10 बतख और अन्य सामान चोरी कर लिया। आरोपियों ने बाउंड्रीवाल फांदकर सेंधमारी की और घटना के बाद आस-पास के ग्रामीणों से पूछताछ में कई आरोपियों के घरों में चोरी किए गए जिंदा और मृत  मुर्गा -बतख बरामद होने की पुष्टि हुई। ग्रामीणों ने फोटो और वीडियो भी साक्ष्य के रूप में पुलिस को सौंपे।

आवेदक ने बताया कि इससे पहले भी आरोपी उनके केंद्र से मुर्गे, इलेक्ट्रॉनिक पार्ट्स, समर सीबल पंप और बिजली के तार चोरी कर चुके हैं। उन्होंने सभी नामजद और अज्ञात आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई और चोरी की वस्तुएं वापस दिलाने की मांग की है।

ग्रामीणों का कहना है कि चोरी की बरामदगी की जानकारी तुरंत पुलिस को दी गई थी। कार्रवाई का आश्वासन मिला, लेकिन आरोपी खुलेआम गांव में घूम रहे हैं, मानो उन्हें कानून का कोई डर ही न हो।

स्थानीय लोगों का कहना है कि जब पुलिस को ठोस सबूत, गवाह और चोरी की बरामदगी का प्रमाण मिल चुका है, फिर भी कार्रवाई में देरी न केवल संदिग्ध है बल्कि अपराधियों के हौसले को बढ़ाने वाली है। कई ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि पुलिस आरोपियों पर हाथ डालने से बच रही है, जबकि यह चोरी की घटना पहले भी दो-तीन बार हो चुकी है।

पीड़ित पक्ष ने मांग की है कि जिन आरोपियों के घर से चोरी का सामान मिला है, उन्हें तत्काल गिरफ्तार कर पूछताछ की जाए और कड़ी धाराओं में अपराध दर्ज किया जाए। ग्रामीणों का कहना है कि अगर पुलिस ने जल्द कार्रवाई नहीं की, तो वे बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन करेंगे।

समाचार लिखे जाने तक आरोपियों की गिरफ्तारी या उन्हें पकड़ने के प्रयास की कोई जानकारी प्राप्त नहीं हुई। सूत्रों के अनुसार, पुलिस फिलहाल “जांच” की बात कह रही है, लेकिन कार्रवाई के मोर्चे  पर सन्नाटा पसरा हुआ है।

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